The love of god shayari
एक माटी का दीया सारी रात अंधेरे से लड़ता है,
फिर तूम तो ईश्वर का दिया हुआ है,
फिर किस बात से डरता ह,
A clay lamp fights with darkness all night,
Then you are given by God,
Then what are you afraid of?
प्रेम में ताकत है इस संसार को नीचा झुकाने की,
वरना क्या जरूरत थी श्री राम को झूठे बेर खाने क,
Love has the power to bring this world down
Otherwise what was the need for Shri Ram to eat false plums,
the god of love
जैसे दूध में चावल मिलाने से खीर बनती है,
बैसे ही जय श्री राम जपने से तक़दीर बनती ह,
Just as kheer is made by mixing rice with milk,
In the same way, by chanting Jai Shri Ram, fortune is made,
तू चाहे तो मेरा हर काम साकार हो जाए तेरी कृपा से, खुशियों की बहार हो जाए,
यूँ तो कर्म मेरे भी कुछ ख़ास अच्छे नहीं,
मगर तेरी नजर पड़े तो मेरा उद्धार हो जाए,
If you want, my every work will be fulfilled, by your grace, happiness may flow out,
Well, my karma is also not very good,
But if you see me, then I will be saved,
ऐ जन्नत अपनी औकात में रहना हम तेरी जन्नत के,
मोहताज नही, हम गुरू भोलेनाथ के चरणों के वासी है,
वहाँ तेरी भी कोई औकात नही,
O heaven, stay in your position, we belong to your heaven,
We are not fascinated, we are residents of the feet of Guru Bholenath.
You also have no right there.
the love of christ
मंज़िले मुझे छोड़ गयी रास्ते ने पाल लिया है,
जा ज़िंदगी तेरी ज़रूरत नहीं मुझे ठाकुर
ने संभाल लिया है,
The destination has taken the path that left me,
Go life I don’t need you Thakur
has taken over,
मेरे जिस्म जान में भोलेनाथ नाम तुम्हारा है,
आज अगर मैं खुश हूँ तो यह एहसान भी तुम्हारा है,
थामा हुआ है हाथ मेरा आपने मुझको मालूम है,
मेरे हर पल हर लम्हे में मेरे भोलेनाथ प्यार तुम्हारा है,
The love of god
Your name is Bholenath in my body.
If I am happy today, then this favor is also yours.
I have held my hand, you know me,
In every moment of my every moment my innocent love is yours,
मैं किसी से बेहतर करुं क्या फर्क पड़ता है,
मै किसी का बेहतर करूं बहुत फर्क पड़ता है,
I do better than anyone, what does it matter?
I do better to someone, it makes a difference
The love of god shayari in hindi
वो तैरते-तैरते डूब गये, जिन्हें खुद पर गुमान था,
और वो डूबते-डूबते भी तर गये जिन पर
तू मेहरबान था,
Those who swam and drowned, who were proud of themselves,
And they drowned and drowned on whom
you were kind
जो कुछ भी मैंने खोया वह मेरी नादानी थी,
और जो कुछ भी मैंने पाया वह रब की मेहरबानी थी,
All I lost was my innocence,
And all that I found was by the grace of the Lord,